...

3 views

मुझे याद है.....।
हाँ माना मैं भटका था रास्ता ,
पर मंजिल अब भी मुझे याद है।

हाँ माना उड़ रहा था मैं आसमा ,
पर एहमियत जमीं की अब भी मुझे याद है।

हाँ माना करी थी बहुत गलतियाँ ,
पर उन गलतियों से सीखना मुझे याद है।

हाँ माना बनाई थी लोगो ने मुझपे बात,
पर उन्हें कुछ 'न' कहना मुझे याद है।

हाँ माना एक दिन जीतूंगा भी मैं,
पर मेंहनत शाँति से करना अब भी मुझे
याद है।

हाँ माना यादें याद है उनकी,
पर उन्हें झुठलाना अब भी मुझे याद है।

हाँ माना कमियां बहुत मुझमें ,
पर अपनी ताकत मुझे याद है ।

हाँ माना याद रखकर कुछ कर नही सकता, पर फिर भी ये बातें मुझे याद है।

_nkesh

© ankesh