...

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जी हां मैं (कहानी बीते दिनों कि)
जी हां मैं
आज कुछ कहना चाहती थीं
बात करना चहती थी
निकाल समय दे कुछ वक्त आपके साथ देना चाहती थीं
किया किया आपने लिखें पढ़ना चाहती थीं
हज़ार बार आ चली गई थी
कह भी नहीं
लिख भी
पाई थी
कि कैसा लिखे हैं

बहुत कुछ सीखा सत्या दिखा रहीं थीं
जिंदगी कि
बात भी नहीं हो
पा रही थी
आप सभी से साझा करो सोचा भी तो नहीं कर पाई

जी हां मैं
जो कहानी बीते दिनों कि कह रहि हो
जो किए हैं
बेहरूखी सा बर्ताव
बना एक खास रिश्ता जोड़ कर
मेरे साथ सभी कि
कई दिनों से लिखे लेख पढ़े
जिन मैं
कई भंडार भरे संसार के ज्ञान द्वारा संचालित किया गया है
बहुत कुछ सीखा रहा हैं

कुछ दिनों ऐसे
सत्य जान
हुआ
कई सपने विखर ।।
पर साथ साथ चलना चाहिए था।।

जी हां मैं
बोता कहानी बीते दिनों कि याद साझा कर
next part main
adha baya kiya or agle main



Babita kumari

© story writing