...

19 views

दिल से
शिकायतें कम सी लगती हैं
मन खाली सा लगता हैं
रास्तों का सवाल हैं
ख़ामोश सा लगता हैं
गुज़रा हैं अतीत जो
रात थी अमावसी
पाठ ये तकलीफ का
पूनम सा लगता हैं
कितना घना तूफ़ान था
जो ले गया सब छीन कर
हमको मगर तूफ़ान अब
आइने सा लगता हैं
अच्छा हुआ जो ढह गया
बह गया सब वहम ये
जिंदगी का घाव कुछ
सूखता सा लगता हैं
कबसे खड़ी हूँ सहरा में
चारों तरफ बस रेत हैं
डगर ही डगर हैं और
धुआँ सा सब लगता हैं
© ©meenu🌸